Noida Flat Update: नोएडा में फ्लैट खरीदारों के लिए राहत है. यहां जर्जर सोसायटियों के स्ट्रक्चरल ऑडिट के बाद करीब 600 बहुमंजिला इमारतों को तोड़कर नए डिजाइन से दोबारा बनाया जाएगा.
नोएडा अथॉरिटी की बोर्ड बैठक में जर्जर सोसायटियों के पुनर्निर्माण का प्रस्ताव पास हो गया है. जिससे शहर की पुरानी इमारतों को नया जीवन मिलने की उम्मीद है. साथ ही 4,777 फ्लैटों की रजिस्ट्री का रास्ता भी साफ हो गया है.
बुधवार को मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह की ऑनलाइन मौजूदगी में हुई नोएडा अथॉरिटी की बोर्ड बैठक में इसका प्रस्ताव पास हो गया है. 26 अन्य प्रस्तावों पर भी मुहर लग गई है. 57 में से 47 बिल्डर परियोजनाओं में 4 हजार 777 फ्लैट की रजिस्ट्री का रास्ता साफ हो गया है. वहीं, क्लाउड-9 समेत 4 बिल्डर परियोजनाओं में फंसे खरीदारों के लिए भी राहत की खबर है.
3 परियोजनाओं में को-डिवेलपर से काम कराया जाएगा. क्लाउड-9 को भी कई लाभ देने की घोषणा हुई. इसके अलावा सेक्टर-164 में सेमीकंडक्टर हब बनाने के लिए इलेक्ट्रॉनिक्स और अडवांस चिप निर्माण यूनिट को ही जमीन दी जाएगी.
सेक्टर-145 में 122 करोड़ रुपये से मूलभूत सुविधाएं विकसित करने के मसौदे को भी मंजूरी दी गई. बैठक में सीईओ डॉ. लोकेश एम, एसीईओ संजय खत्री, वंदना त्रिपाठी, सतीश पाल, ओएसडी महेंद्र प्रसाद, क्रांति शेखर मौजूद थे. पुनर्निर्माण के प्रस्ताव को मंजूरी मिलने से शहर की कई जर्जर सोसायटियों को नया जीवन मिलने की उम्मीद जग गई है. कई हाईराइज और लोराइज सोसायटियां 15 से 20 साल पुरानी हैं.
इनमें प्राधिकरण और सहकारी समितियों की ओर से विकसित की गई सोसायटियां, कंपनियों की आवासीय कॉलोनियां शामिल हैं. प्राधिकरण की कुछ सोसायटियां तो इतनी जर्जर हो गई हैं कि रहना मुश्किल है. अब इनको तोड़कर नया लुक दिया जाएगा.
इसका लाभ निजी डिवेलपर्स की सोसायटियों को भी मिलेगा. यहां भविष्य में बनाए जाने वाले फ्लैट आकार में बड़े होंगे. इनको रीडिवेलप करने के लिए पॉलिसी बनाई जाएगी, जिसे बोर्ड ने सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है.
पॉलिसी में डिवेलपर की नियुक्ति, पुनर्विकास के लिए डिवेलपर का चयन, निर्माण क्राइटेरिया और जुर्माना, पुनर्स्थापन के नियम बनाए जाएंगे. इनके आधार पर केस स्टडी कर रीडिवेलपमेंट किया जाएगा.
नोएडा में 5 और 7 स्टार होटलों की कमी के कारण लोगों को दिल्ली में रुकना पड़ता है. इसको देखते हुए प्रदेश सरकार के निर्देश पर बोर्ड बैठक में अथॉरिटी के सीईओ ने पीपीपी मोड पर लग्जरी होटलों के लिए भूखंड चिह्नित कर जल्द योजना लॉन्च करने का प्रस्ताव रखा गया, जो मंजूर हो गया.
सेमीकंडक्टर हब बन रहे जिले में दुनियाभर की इलेक्ट्रॉनिक और सेमीकंडक्टर संग अडवांस चिप कंपनियों की तरफ से भूखंड की मांग को देखते हुए नोएडा सेक्टर-164 में नियोजित शेष औद्योगिक भूखंड को इलेक्ट्रॉनिक परियोजनाओं के लिए आरक्षित किया गया.
इस सेक्टर में 6 बड़े भूखंड को सेमीकंडक्टर और अडवांस चिप का निर्माण करने के लिए आरक्षित करने के साथ ही यूपी सरकार की इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण नीति के तहत सभी लाभ देने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई.
नोएडा में बिल्डरों की मनमानी से फ्लैट खरीदारों की परेशानी किसी से छिपी नहीं है. पूरा पैसा देने के बाद रजिस्ट्री कराने के लिए लोग ठोकर खा रहे हैं. मुख्य सचिव ने बैठक में रजिस्ट्री को लेकर सवाल किया.