दरअसल, बरमतपुर के रहने वाले दिव्यांग दंपति अनिल कुमार और उनकी पत्नी महारजिया के घर को राजस्व टीम ने 16 जुलाई को बुलडोजर चलाकर गिरा दिया था.
इसके बाद दिव्यांग दंपति ने पूरे मामले की जांच के लिए डीएम से गुहार लगाई थी. जांच में पाया गया कि गाटा संख्या 36 पर तहसील न्यायालय से बेजा कब्जा हटाने का आदेश जारी हुआ था. उसी का पालन करना था, लेकिन राजस्व टीम ने गाटा संख्या 52 पर कार्रवाई कर दी, जो चक मार्ग है.
राजस्व विभाग की ये मनमानी अधिकारियों पर भारी पड़ गई. पूरे मामले में विधायक ने भी शिकायत की. मामला तूल पकड़ा तो लापरवाही उजागर हुई.
आरोप है कि अर्चना अग्निहोत्री ने बेदखली की कार्रवाई से पहले मौके पर जाकर कोई निरीक्षण नहीं किया. शासन ने इसे गंभीर लापरवाही मानते हुए उन्हें उत्तर प्रदेश सरकारी सेवक (अनुशासन व अपील) नियमावली 1999 के तहत निलंबित कर दिया.
निलंबन के दौरान अर्चना अग्निहोत्री राजस्व परिषद से संबद्ध रहेंगी और उनके खिलाफ लखनऊ कमिश्नर को जांच सौंपी गई है.
जानकारी के मुताबिक, फतेहपुर की एसडीएम अर्चना अग्निहोत्री 2021 बैच की पीसीएस अफसर हैं. दिल्ली में पली-बढ़ी अर्चना अग्निहोत्री ने अमेरिका में भी पढ़ाई की है.
इतना ही नहीं उन्होंने अमेरिका की एक कंपनी में काम भी किया. इसके बाद उन्होंने अपने देश की सेवा में लौटने का निर्णय लिया.
अर्चना अग्निहोत्री ने राजनीति में भी कदम रखा और आम आदमी पार्टी से जुड़ीं. हालांकि, उन्होंने पार्टी में व्याप्त भ्रष्टाचार के कारण उससे अलग हो गईं.