Hamirpur News: हिमाचल प्रदेश के कोने-कोने से भक्त भगवान भोलेनाथ का दर्शन करने के लिए पहुंचे. इस पौराणिक शिव मंदिर में स्थापित प्राचीन शिवलिंग पर जलाभिषेक तथा दुग्ध अभिषेक किया गया. बिल पत्री तथा भांग के पत्तियां शिवलिंग पर अर्पित की गई. मंदिर प्रशासन की तरफ से पहले ही सभी पुख्ता इंतजाम कर लिए गए थे. महाकुंभ की तरह ही यहां पर भी एक महाकुंभ का आयोजन हुआ जहां पर स्नान की व्यवस्था की गई थी.
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Himachal Pradesh/अरविंदर सिंह: जिला के प्रसिद्ध गसोता महादेव मंदिर में महाशिवरात्रि पर्व पर श्रद्धालुओं का महासैलाब उमड पड़ा. सुबह 3:00 से ही मंदिर के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए गए थे. सुबह ब्रह्म मुहूर्त में ही श्रद्धालू मंदिर में पहुंचना शुरू हो गए. दर्शनों के लिए लंबी लाइन में श्रद्धालुओं ने कई घंटे तक इंतजार किया. व्रत धारण कर चुके श्रद्धालुओं के लिए मंदिर में फलाहार की व्यवस्था भी की गई थी.
हिमाचल प्रदेश के कोने-कोने से भक्त भगवान भोलेनाथ का दर्शन करने के लिए पहुंचे. इस पौराणिक शिव मंदिर में स्थापित प्राचीन शिवलिंग पर जलाभिषेक तथा दुग्ध अभिषेक किया गया. बिल पत्री तथा भांग के पत्तियां शिवलिंग पर अर्पित की गई. मंदिर प्रशासन की तरफ से पहले ही सभी पुख्ता इंतजाम कर लिए गए थे. महाकुंभ की तरह ही यहां पर भी एक महाकुंभ का आयोजन हुआ जहां पर स्नान की व्यवस्था की गई थी.
इस सरोवर के नाम से जाना जाता है जहां पर प्रशासन ने महाकुंभ की तरह स्नान का प्रबंध किया था. गुरुवार के दिन मंदिर परिसर में विशाल भंडारे का आयोजन किया जाएगा. इसी तरह हमीरपुर जिला के अन्य शिव मंदिरों में भी शिवरात्रि पर्व की धूम रही. अपनी अपनी श्रद्धा अनुसार श्रद्धालु मंदिर में पहुंचे तथा शिवलिंग पर जल तथा दूध सहित बिलपत्री और भांग के पत्ते चढ़ाए गए. मंदिरों का श्रृंगार विभिन्न प्रकार के रंग-बिरंगे फूलों से किया गया था.
गसोता महादेव के महंत राघवानंद महाराज ने बताया कि हिमाचल के कोने-कोने से भगत भगवान भोलेनाथ के दर्शन करने के लिए मंदिर में पहुंचे हैं. उन्होंने बताया कि श्रद्धालुओं के लिए सभी इंतजाम मंदिर प्रबंधन की तरफ से किए गए हैं तथा गुरुवार के दिन विशाल भंडारे का भी आयोजन किया जाएगा. उन्होंने कहा कि इस मंदिर के प्रति लोगों की गहरी आस्था है और यह प्राचीन मंदिर है जहां पर बहुत पुराना शिवलिंग स्थापित है. मंदिर को फूलों से सजाया गया था ताकि महाशिवरात्रि पर्व पर यह आकर्षण का केंद्र रहे.
स्थानीय विधायक आशीष शर्मा ने कहा कि इस मंदिर में जो सरोवर बनाया गया है. वह 6 महीने पहले ही शुरू हो जाना चाहिए था लेकिन प्रदेश सरकार की लेटीपी की वजह से शुरू नहीं हो पाया. मंदिर कमेटी के प्रयास से यह सरोवर श्रद्धालुओं के स्नान के लिए पावन दिन पर शुरू हुआ है.
स्थानीय निवासियों नरेश कुमार और आशीष शर्मा ने बताया कि यह मंदिर सब की मनोकामना पूर्ण करने वाला है. जो भी सच्चे मन से भगवान भोलेनाथ की आराधना करता है भगवान उसकी सभी मनोकामनाएं पूरी करते हैं. इस मंदिर के प्रति गहरी आस्था होने के चलते ही महाशिवरात्रि पर पर हजारों की भीड़ यहां पर पहुंचती है. सुबह से ही मंदिर परिसर में लंबी कटारे भक्तों की दर्शनों के लिए लग जाती हैं.