MP Pension Scheme: लाड़ली बहना की तर्ज पर मध्य प्रदेश विधवा पेंशन और वृद्ध पेंशन की राशि को बढ़ाने की मांग की गई है. मोहन सरकार ने भी राशि बढ़ाने की दिशा में हामी भरी है. मध्य प्रदेश विधवा पेंशन और वृद्ध पेंशन की राशि को 1500 रुपए करने की मांग की जा रही है.
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MP Vridh aur Vidhwa Pension: मध्य प्रदेश में विधवाओं और वरिष्ठ नागरिकों को जारी हो रही वृद्ध और विधवा पेंशन की राशि को बढ़ाने की मांग फिर से तेज हुई है. अटकलें लगाई जा रही कि सरकार शायद मध्य प्रदेश वृद्ध पेंशन और मध्य प्रदेश विधवा पेंशन की मौजूदा राशि को बढ़ाकर पात्र लाभार्थियों को जारी की जाएगी. दोनों योजनाओं की राशि को लाड़ली बहना योजना राशि की तर्ज पर बढ़ाने की मांग की जा रही है.
कितनी बढ़ बढ़ेगी राशि?
भोपाल में चल रहे विधानसभा कार्रवाही के दौरान ये सवाल मुख्य रूप से केंद्रित किया गया कि क्या वृद्ध पेंशन और मध्य प्रदेश विधवा पेंशन की राशी बढ़ाई जाएगी. क्योंकि मई 2025 में उमंग सिंघार ने दोनों योजनाओं की राशियों को 1500 रुपए तक तकने की मांग की थी. वहीं मोहन सरकार का कहना है कि राज्य सरकार समेत केंद्र सरकार के जरिए हर योजनाओं की राशि को समय पर समय पर बढ़ाया जाता है. मोहन सरकार इन दोनों योजनाओं की राशियों को बढ़ाने पर विचार कर रही, जल्द ही इस पर अमल किया जा सकता है.
कितनी मिल रही राशि ?
मध्य प्रदेश में वृद्धावस्था पेंशन से 60-79 साल के वरिष्ठ नागरिकों को कुल 600 रुपए दिए जाते हैं. जहां राज्य सरकार 400 रुपए जारी करती है और केंद्र की ओर से 200 रुपए जारी किए जाते हैं. वहीं 80 साल से अधिक वरिष्ठ नागरिकों को कुल 1500 रुपए दिए जाते हैं. केंद्र की ओर से 1500 और राज्य सरकार की ओर से 1000 रुपए. वहीं विधवा पेंशन की मौजूदा राशि भी 600 रुपए है. विधवा पेंशन की राशि को इंदिरा गांधी योजना और मुख्यमंत्री कल्याणी योजना के तहत दिए जाते हैं. अह इन राशि को बढ़ाकर 1500 रुपए करने की मांग की जा रही है.
क्यों उठाई जा रही मांग?
दोनों पेंशन की राशि बढ़ जाने से महगांई में जीवन यापन करना थोड़ा आसान हो जाएगा. लाड़ली बहना योजना की तरह महिला सश्क्तिकरण को बढ़ावा मिलेगा. सामाजिक सुरक्षा बरकरार रहेगी. अन्य राज्यों में इससे ज्यादा राशि जारी की जाती है. अगर बात करें हरियाणा की तो यहां दोनों पेंशन के तहत 2500 रुपए दिए जाते हैं. यानि एमपी की तुलना से 4 गुना ज्यादा है. वहीं दिल्ली में भी पेंशन राशि एमपी की पेंशन राशि से 3-4 गुना ज्यादा है. छत्तीसगढ़ में दोनों पेंशन की राशि एमपी से थोड़ी ज्यादा है. उत्तर प्रदेश और राजस्थान में भी पेंशन राशि एमपी की पेंशन राशि से लगभग दोगुना है
सोर्स: हरिभूमि