Ajmer Dargah: ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने केंद्र सरकार को खत लिखा है. इसमें दरगाह के खस्ताहाल होने का जिक्र किया गया है. पूरी खबर पढ़ने के लिए स्क्रॉल करें.
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Ajmer Dargah: राजस्थान में मौजूद भारत की मशहूर दरगाह अजमेर शरीफ को लेकर ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने केंद्र सरकार को एक खत लिखा है. बोर्ड ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरण रिजिजू से दरगाह की खस्ताहाली पर संज्ञान लेने और जल्द से जल्द जरूरी कदम उठाने की मांग की है.
बोर्ड के महासचिव मोहम्मद ज़फरुल रहीम मुजद्दीदी ने अपने खत में बताया कि पिछले तीन सालों से अजमेर दरगाह कमेटी का गठन नहीं हुआ है, जिसकी वजह से दरगाह से जुड़े सभी डेवलपमेंट के काम ठप पड़े हुए हैं.
उन्होंने 1955 के दरगाह एक्ट का भी हवाला दिया और कहा कि यह सेंट्रल गवर्नमेंट की जिम्मेदारी है कि वह दरगाह की देखरेख, उसकी ऐतिहासिक इमारतों के संरक्षण और जायरीनों की सिक्योरिटी सुनिश्चिच करेय
पत्र में हालिया घटनाओं का भी जिक्र किया गया है — 2 जुलाई को दरगाह में एक हुजरे की दीवार गिर गई थी और 15 जुलाई को एक दालान की छत में दरार आ गई थी। इसके अलावा, दरगाह परिसर में कई जगह प्लास्टर झड़ चुका है और मानसून के चलते बारिश का पानी जगह-जगह भर रहा है, जिससे हादसे होने का खतरा बढ़ गया है और जायरीन परेशान हैं।
बोर्ड ने केंद्र पर आरोप लगाया कि मौजूदा हालात में न तो कोई सुरक्षात्मक कदम उठाए जा रहे हैं और न ही किसी मरम्मत योजना पर काम हो रहा है। पत्र में कहा गया है कि केवल प्रधानमंत्री द्वारा चादर भेजना ही दरगाह के प्रति जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि इंसानियत और कानून दोनों के तहत वहां की व्यवस्था और सुरक्षा भी केंद्र सरकार की जिम्मेदारी है।
अंत में, बोर्ड ने मांग की कि जल्द से जल्द दरगाह कमेटी का गठन किया जाए और दरगाह की जर्जर हो चुकी इमारतों की मरम्मत करवाई जाए, ताकि अजमेर शरीफ आने वाले लाखों जायरीनों को सुरक्षित और सुविधाजनक माहौल मिल सके.