Switzerland: स्विटजरलैंड से हाल ही में एक बड़ी खबर आई है कि वो बड़ी एक बड़ी तकनीक पर काम कर रहा है. बताया जा रहा है कि ट्रेन की पटरियों के बीच कुछ ऐसी चीज बिछाई जा रही है जो पूरे देश को बिजली मुहैया करा सकती है.
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जैसे-जैसे दुनिया आगे बढ़ रही है, वैसे-वैसे तकनीक भी नए आयाम छूते जा रही है. हाल ही खबर आई है कि स्विटजरलैंड एक बड़ी सोलर टेक्नोलॉजी पर काम कर रहा है. खबर है कि स्विटजरलैंड रेलवे ट्रैक के बीच खाली पड़ी जगह का इस्तेमाल कर सौर ऊर्जा यानी सोलर एनर्जी बनाने की नई तकनीक पर काम कर रहा है. बताया जा रहा है कि इस प्रोजेक्ट पर सन वेज (Sun Ways) काम कर रही है.
रिपोर्ट के मुताबिक करीब 6.04 करोड़ की लागत से पश्चिमी स्विट्ज़रलैंड के बट्स गांव में 100 मीटर लंबे रेलवे ट्रैक पर 48 सोलर पैनल लगाए गए हैं. रिपोर्ट में बताया गया है कि कंपनी के संस्थापक जोसेफ सुदेरी (Joseph Scuderi) को यह ख्याल 2020 में ट्रेन का इंतेजार करते हुए आया. बाद में जब फेडरल ऑफिस ऑफ ट्रांसपोर्ट (FOT) से मंजूरी मिली, तब उन्होंने यह तकनीक लागू की.
इसकी प्रोजेक्ट की खास बातों पर नजर डालें तो दूसरे सोलर पैनल्स की तरह ये पैनल स्थायी रूप से नहीं लगे होते. इन्हें जरूरत पड़ने पर आसानी से हटाया जा सकता है, ताकि रेलवे ट्रैक की मरम्मत आसानी से हो सके. शुरुआत में 2023 में इस प्रोजेक्ट को सिक्योरिटी वजहों से खारिज कर दिया गया था लेकिन एक्सपर्ट्स की मदद से सन वेज कंपनी ने साबित किया कि यह तकनीक ट्रेन की सुरक्षा या रख-रखाव में कोई बाधा नहीं बनाएगी.
प्रोजेक्ट पर काम करने वाली कंपनी के मुताबिक ये सौर ऊर्जा तीन तरह से इस्तेमाल की जा सकती है:
रेलवे के सिस्टम में वापस डाली जा सकती है – जैसे कि सिग्नल, स्टेशन और स्विच चलाने के लिए.
स्थानीय बिजली ग्रिड में भेजी जा सकती है – जिससे आसपास के घरों या इलाकों को बिजली दी जा सके.
ट्रेन चलाने के लिए सीधे इस्तेमाल– कंपनी के मुताबिक यह सबसे फायदेमंद तरीका साबित हो सकता है.
कंपनी का कहना है कि स्विट्जरलैंड के पूरे 5320 किमी लंबे रेल नेटवर्क पर अगर यह तकनीक लागू हो जाए तो हर साल करीब 1 अरब किलोवाट-घंटा (kWh) बिजली बनाई जा सकती है. यह बिजली लगभग 3 लाख घरों की जरूरत पूरी कर सकती है.