OTT पर अश्लील कंटेंट को लेकर केंद्र सरकार ने दिखाई सख्ती, इन 43 ऐप्स को किया ब्लॉक
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OTT पर अश्लील कंटेंट को लेकर केंद्र सरकार ने दिखाई सख्ती, इन 43 ऐप्स को किया ब्लॉक

OTT कंटेंट को लेकर जहां एक ओर लोगों के बीच क्रेज काफी बढ़ता जा रहा है, वहीं, अब केंद्र सरकार ने कुछ प्लेटफॉर्म्स और इन पर दिखाए जाने वाले कंटेंट पर अब सख्ती दिखाते हुए इन्हें ब्लॉक करने का फैसला किया है.

OTT पर अश्लील कंटेंट को लेकर केंद्र सरकार ने दिखाई सख्ती, इन 43 ऐप्स को किया ब्लॉक

केंद्र सरकार ने बुधवार को संसद को सूचित करते हुए बताया कि अब तक कुल 43 OTT प्लेटफॉर्म्स को बंद कर दिया गया है. इनमें अश्लील, अडल्ट, हिंसक और सांस्कृतिक तौर पर आपत्तिजनक कंटेंट होने के कारण इन्हें बंद करने का फैसला लिया गया. सरकार का कहना है कि यह कार्रवाई देश के कानून और नैतिक मूल्य बनाए रखने के लिए जरूरी थी. इसके साथ ही, यह भी स्पष्ट किया गया कि सरकार ने 25 फरवरी 2021 को सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 के तहत नए डिजिटल नियम लागू किए हैं. इन नियमों के अनुसार, OTT प्लेटफॉर्म्स को तय गाइडलाइंस और आचार संहिता का पालन करना अनिवार्य है ताकि ऑनलाइन मीडिया का उपयोग जिम्मेदारी और मर्यादा के साथ हो.

कोई भी सामग्री न दिखाए OTT प्लेटफॉर्म्स
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और IT मंत्री अश्विनी वैष्णव ने लोकसभा में कहा, 'नियमों के भाग-III में डिजिटल समाचार प्रकाशकों और ऑनलाइन क्यूरेटेड सामग्री (OTT प्लेटफॉर्म) के प्रकाशकों के लिए एक आचार संहिता का प्रावधान है. OTT प्लेटफॉर्म्स का दायित्व है कि वे ऐसी कोई भी सामग्री प्रसारित न करें, जो वर्तमान में लागू कानून द्वारा निषिद्ध है.' उन्होंने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में बताया कि OTT प्लेटफॉर्म नियमों की अनुसूची में दिए गए सामान्य दिशानिर्देशों के आधार पर, सामग्री का आयु-आधारित स्व-वर्गीकरण करने के लिए बाध्य हैं, जिसमें नग्नता, यौन और हिंसा से संबंधित चित्रण से संबंधित प्रावधान शामिल हैं. केंद्रीय मंत्री के अनुसार, OTT प्लेटफॉर्म बच्चों के लिए आयु-अनुचित सामग्री को प्रतिबंधित करने के लिए पर्याप्त सुरक्षा उपाय लागू करने के लिए भी बाध्य हैं, जिसमें पर्याप्त पहुंच नियंत्रण उपाय शामिल हैं.

अश्विनी वैष्णव ने संसद में दी जानकारी
सरकार ने IT अधिनियम, 2000 की धारा 79(3)(B) के तहत यह अधिकार रखा है कि यदि कोई डिजिटल प्लेटफॉर्म कानून के विरुद्ध सामग्री प्रसारित करता है, तो उस पर तुरंत कार्रवाई की जा सकती है. इसी प्रावधान के आधार पर संबंधित मंत्रालय गैरकानूनी और आपत्तिजनक कंटेंट की पहचान कर मध्यस्थों को उसकी जानकारी देते हैं, जिससे ऐसी सामग्री को ब्लॉक या हटाया जा सके. इसके साथ ही, सरकार ने OTT प्लेटफॉर्म्स और उनके स्व-नियामक संगठनों को पहले ही सलाह दी है कि वे अपने प्लेटफॉर्म्स पर जो भी कंटेंट अपलोड करते हैं, उसमें देश के कानून और सूचना प्रौद्योगिकी नियम, 2021 में तय की गई आचार संहिता का पूर्ण रूप से पालन करें. केंद्रीय आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने संसद में जानकारी दी कि विभिन्न मंत्रालयों से विमर्श के बाद अब तक 43 ओटीटी प्लेटफॉर्म्स को बंद किया जा चुका है, जिनपर गंभीर उल्लंघन की आशंका जताई गई थी.

सरकार ने उठाया सख्त कदम
सरकार ने हाल ही में डिजिटल प्लेटफॉर्म्स पर मौजूद आपत्तिजनक और गैरकानूनी कंटेंट पर सख्ती दिखाते हुए बड़ा कदम उठाया है. पिछले सप्ताह, केंद्र सरकार ने इंटरनेट सेवा प्रदाताओं को निर्देश दिए कि उल्लू, ALT, देसीफ्लिक्स जैसे लोकप्रिय OTT प्लेटफॉर्म्स सहित कुल 25 ऐप्स और वेबसाइट्स पर जनता की पहुंच बंद कर दी जाए. इस फैसले का उद्देश्य उन प्लेटफॉर्म्स पर मौजूद यौन और सांस्कृतिक दृष्टि से अनुचित सामग्री को रोकना है, जो भारत के कानूनों और सामाजिक मूल्यों का उल्लंघन कर रही थीं.

ये प्लेटफॉर्म्स हुए ब्लॉक
जिन OTT ऐप्स को ब्लॉक किया गया है उनमें बिग शॉट्स ऐप, बूमेक्स, नवरसा लाइट, गुलाब ऐप, कंगन ऐप, बुल ऐप, जलवा ऐप, वाउ एंटरटेनमेंट, लुक एंटरटेनमेंट, हिटप्राइम, फेनेओ, शोएक्स, सोल टॉकीज, अड्डा टीवी, हॉटएक्स वीआईपी, हलचल ऐप, मूडएक्स, नियॉनएक्स वीआईपी, फुगी, मोजफ्लिक्स और ट्राइफ्लिक्स शामिल हैं. इनमें से कई ऐप्स पर अश्लील और स्पष्ट यौन कंटेंट फैलाने का आरोप है, जिससे देश की सांस्कृतिक मर्यादा को ठेस पहंच रही थी. सरकार का यह कदम डिजिटल मीडिया को जिम्मेदारी की दिशा में ले जाने के प्रयासों का हिस्सा है.

(इनपुट IANS)

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