चीनी सोशल मीडिया पर इस वक्त एक स्टील्थ विमान की तस्वीरें खूब वारयल हो रही हैं. माना जा रहा है कि ये एक नया वॉर प्लेन है. तस्वीरें वायरल होने के बाद इस बात पर बहस शुरू हो गई है कि क्या यह एक नया पायलट वाला वॉर प्लेन है या एक 'वफादार विंगमैन' ड्रोन.
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China: क्या सही में चीन ने छठी पीढ़ी के स्टील्थ लड़ाकू विमान बना लिया है? क्योंकि इससे जुड़ी कई तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल है और दावा किया जा रहा है कि ये एक नया वॉर प्लेन है. चीनी सोशल मीडिया पर सोमवार से विमान की दो तस्वीरें वायरल हो रही हैं, जिसे जमीन से कैद की गई हैं. हालांकि, इन तस्वीरों से यह साफ नहीं है कि विमान में कॉकपिट था या अंदर हथियार रखने की जगह. इसलिए इसे लेकर बहस शुरू हो गई है कि क्या यह एक नया पायलट वाला वॉर प्लेन है या एक 'लॉयल विंगमैन' ड्रोन है.
इन तस्वीरों में एक दूसरे विमान, जिसे जे-36 स्टील्थ लड़ाकू विमान माना जा रहा है. हालांकी, इसी तुलना में इसका धड़ पतला और साइज में छोटा दिखाई दे रहा है. इससे यह संकेत मिलता है कि इस नए विमान की अधिकतम गति ज़्यादा हो सकती है. कुछ मिलिट्री एक्सपर्टस का मानना है कि यह चीन का तीसरा छठी पीढ़ी का स्टील्थ लड़ाकू विमान हो सकता है. जबकि माना जा रहा है कि जे-36 पहले से ही प्री प्रोडक्शन टेस्टिंग के लिए लगभग तैयार है. अमेरिकी वेबसाइट द वॉर जोन और कुछ एक्सपर्ट्स ने तर्क दिया कि इसकी डिजाइन और पायलट फाइटर जेट की कई खासियत है. यह जेट वास्तव में गतिशीलता के बजाय चुपके से उड़ान भरने के लिए अनुकूलित ड्रोन हो सकता है.
एविएशन एनालिस्ट एंड्रियास रूप्रेच ने सोशल मीडिया पर लिखा कि इसका साइज लैम्ब्डा-विंग लेआउट जे-50 की याद दिलाता है, जो कि अंडर डिप्लॉयमेंट एक अन्य चीनी स्टील्थ लड़ाकू विमान है. यही कारण है कि माना जा रहा है यह एक सहयोगी लड़ाकू विमान का डिजाइन हो सकता है. इस ड्रोन को कभी-कभी 'वफादार विंगमैन' भी कहा जाता है. ये पायलट के साथ समन्वय में काम करने के लिए डिज़ाइन किए गए हैं, लेकिन आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस का इस्तेमाल करके अपने स्ट्रैटजिक फैसले खुद लेने में काबिल हैं. हालांकि, चीनी सोशल मीडिया पर एक्सपर्ट्स का तर्क था कि यह मॉडल एक क्रू मेंबर वाला फाइटर जेट था.
नॉर्थवेस्टर्न पॉलिटेक्निकल यूनिवर्सिटी द्वारा पेटेंट किए गए एयरक्राफ्ट कैरियर बेस्ड फाइटर जेट के डिजाइन के बगल में पोस्ट किए गए नए विमान की तस्वीरों से दोनों के बीच संबंध का संकेत मिलता है. जबकि चीन, अमेरिका सेत उन अनेक देशों में से एक है, जो छठी पीढ़ी के स्टील्थ लड़ाकू विमान विकसित करने की दौड़ में है. लेकिन एक ही पीढ़ी के लड़ाकू विमानों के बीच इतने सारे नए फाइटर जेट बनाना गैर-मामूली बात नहीं होगी. मई में अमेरिकी वायुसेना ने कहा था कि वह अपने नेक्स्ट जनरेशन एयर डोमिनेंस प्रोग्राम के तहत साल के आखिर से पहले अपने वफादार विंगमैन ड्रोनों के लिए पहली उड़ान भरने की योजना बना रही है.
हालांकि, इन दोनों तस्वीरों से दो सप्ताह पहले यह खबर आई थी कि अमेरिकी F-47 को दो साल की देरी का सामना करना पड़ सकता है और वाशिंगटन में इस बात पर बहस चल रही है कि नौसेना के लिए इस जेट को प्राथमिकता दी जाए या छठी पीढ़ी के कैरियर बेस्ड मॉडल को.
वहीं, छठी पीढ़ी के लड़ाकू विमानों पर काम कर रहे अन्य देशों में ब्रिटेन, इटली और जापान के बीच सहयोग और फ्रांस, जर्मनी और स्पेन द्वारा विकसित किया जा रहा फ्यूचर कॉम्बैट एयर सिस्टम शामिल हैं.
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