Madhepura News: बाल खाती थी महिला! पेट में जमा हो गया एक किलो का गुच्छा, डॉक्टरों ने ऑपरेशन कर निकाला
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Madhepura News: बाल खाती थी महिला! पेट में जमा हो गया एक किलो का गुच्छा, डॉक्टरों ने ऑपरेशन कर निकाला

Madhepura News: मधेपुरा से एक अजीबो-गरीब खबर सामने आई है, जहां एक महिला के पेट से एक किलो बालों का गुच्छा निकाला गया है. इसको लेकर डॉक्टरों का कहना है कि बाल खाना एक मानसिक बीमारी है, जिसके लिए किसी मनोरोज विशेषज्ञ से सलाह ली जानी चाहिए. आखिर यह मामला क्या है. इसे जानने के लिए पूरी खबर पढ़ें.

मधेपुरा में महिला के पेट से निकला बाल
मधेपुरा में महिला के पेट से निकला बाल

Madhepura News: बिहार के मधेपुरा जिले में एक महिला के पेट से एक किलोग्राम बालों का गुच्छा निकाला गया है. ऑपरेशन में जब महिला के पेट से बालों का गुच्छा निकला तो डॉक्टर भी हैरान रह गए. दरअसल, मधेपुरा के पाटलिपुत्रा अस्पताल में डॉक्टरों की टीम ने एक महिला का सफल ऑपरेशन करते हुए उसके पेट से करीब एक किलोग्राम बालों का गुच्छा बाहर निकाला है. महिला बीते तीन वर्षों से पेट दर्द से परेशान थी, लेकिन उसका सही से इलाज नहीं हो पा रहा था. 

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जानकारी के अनुसार, सुपौल जिले के त्रिवेणीगंज थाना क्षेत्र के बलजोरा गांव की एक महिला को करीब तीन वर्षों से पेट में लगातार दर्द बना रहता था. इसके अलावा, भूख न लगना, उल्टी आना और पेट भारी रहने जैसी समस्याओं से महिला जूझ रही थी. पहले तो लोग इसे मामूली दर्द समझकर नजरअंदाज करते रहे, लेकिन जब पिछले चार महीनों से महिला को तेज दर्द होने लगा, तब उसके पति ने त्रिवेणीगंज के एक डॉक्टर से इलाज करवाया. डॉक्टर ने सीटी स्कैन कराने की सलाह दी. 

फिर उसने पत्नी को पाटलिपुत्रा हॉस्पिटल में भर्ती करवाया. वहां अस्पताल के निदेशक व सर्जन डॉ. संतोष कुमार के नेतृत्व में सीटी स्कैन और एब्डोमिनल यूएसजी जांच करवाई गई. तब पता चला कि महिला के पेट में बालों का बड़ा गुच्छा जमा हो गया है. इसे मेडिकल भाषा में ट्राइकोबेजोआर कहते हैं. जो एक दुर्लभ मानसिक स्थिति के कारण होता है. 

डॉ. संतोष कुमार ने बताया कि यह स्थिति तब बनती है जब किसी व्यक्ति को बाल खाने की आदत लग जाती है. बाल नहीं पचलते और पेट में जमा होते चले जाते हैं. समय रहते इलाज न होने पर यह जानलेवा भी हो सकता है. उन्होंने बताया कि जिले में पहली बार इस तरह का किया गया है. फिलहाल महिला की स्थिति समान्य है और वह रिकवरी की प्रक्रिया में है. वहीं डॉक्टरों ने परिजनों को सलाह दी है कि महिला को मानसिक स्वास्थ्य विशेषज्ञ से भी दिखाया जाए, ताकि बाल खाने की आदत से वह निजात पा सके.

रिपोर्ट: शंकर कुमार, मधेपुरा

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