भारत और फिलीपींस के बीच मंगलनवार को रणनीतिक साझेदारी की घोषणा की गई है. दोनों देशों ने द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने के लिए कई महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर किए. इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे द्विपक्षीय समझौतों के लिए ऐतिहासिक दिन बताया.
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India Philippines News: भारत और फिलीपींस के बीच कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा के साथ ही रणनीतिक साझेदारी की घोषणा की गई है. दोनों देशों ने अपने रिश्तों को एक नए मुकाम पर पहुंचा दिया है. दरअसल फिलीपींस के राष्ट्रपति आर. मार्कोस जूनियर पांच दिवसीय यात्रा पर भारत आए हुए हैं. जहां मंगलवार को दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग बढ़ाने सहित कई मुद्दों पर बातचीत हुई है. इस साझेदारी को अब रणनीतिक साझेदारी का नाम दिया गया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस बात की घोषणा करते हुए इसे ऐतिहासिक दिन बताया. उन्होंने इस साझेदारी को दोनों देशों के बीच गहरे आपसी विश्वास का प्रतीक भी कहा.
पीएम मोदी ने इस दिन को भारत और फिलीपींस के लिए बहुत खास बताया. उन्होंने कहा, "हमने अपने रिश्तों को एक नई ऊंचाई पर पहुंचाया है. अब हम सिर्फ दोस्त नहीं, बल्कि रणनीतिक साझेदार हैं. उन्होंने यह भी कहा कि रक्षा और सुरक्षा क्षेत्र में भी इन रिश्तों को मजबूती मिलेगी". इसके साथ ही यह साझेदारी सिर्फ कागजों तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि इसका असर दोनों देशों के लोगों की जिंदगी पर भी पड़ेगा. बता दें कि इस नई साझेदारी के तहत कई क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाया जाएगा. इनमें प्रमुख रूप से रक्षा, सुरक्षा, व्यापार, निवेश, शिक्षा और संस्कृति शामिल हैं.
क्षेत्रीय स्थिरता और शांति
इस साझेदारी के दौरान दोनों देशों के बीच हिंद-प्रशांत क्षेत्र को लेकर भी बातचीत हुई. जहां दोनों नेताओं ने हिंद-प्रशांत क्षेत्र में शांति और स्थिरता बनाए रखने की प्रतिबद्धता व्यक्त की. इस दौरान दक्षिण चीन सागर में बाध्यकारी और आक्रामक कार्यों पर दोनों देशों की ओर से चिंता जताई और अंतरराष्ट्रीय कानून के अनुसार विवादों को शांतिपूर्ण ढंग से सुलझाने का आह्वान किया. दरअसल चीन की बढ़ती आक्रामकता के बीच क्षेत्रीय सुरक्षा को मजबूत करने की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम है. दरअसल 2016 में इस विवाद को लेकर मध्यस्त फिलीपींस के पक्ष में फैसला सुनाया था, जो कि मील की पत्थर साबित हो रहा है.
रक्षा और सुरक्षा पर विशेष जोर
भारत और फिलीपींस के बीच इस नई साझेदारी के केंद्र में रक्षा और समुद्री सहयोग रहा है. दरअसल पीएम मोदी ने कहा कि भारत और फिलीपींस दोनों ही समुद्री राष्ट्र हैं, और इसलिए समुद्री क्षेत्र में सहयोग स्वाभाविक होने के साथ ही आवश्यक भी है. उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि दोनों देश हिंद-प्रशांत क्षेत्र में शांति, सुरक्षा, समृद्धि और नियमों पर आधारित व्यवस्था के लिए प्रतिबद्ध हैं. वहीं फिलीपींस ने भारत से ब्रह्मोस मिसाइल की प्रणाली खरीदने में भी रुचि दिखाई है. यह दोनों देशों के बीच रक्षा सहयोग को गहरा करने के लिए एक महत्वपूर्ण उदाहरण है.
2025 से 2029 तक योजना
दोनों देशों के बीच योजना को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, "हम भारत को रणनीतिक साझेदारी के स्तर पर ले जा रहे हैं. इससे दोनों देशों के संबंधों को एक नई गति और गहराई मिलेगी." वहीं उन्होंने इसे रक्षा एवं सुरक्षा क्षेत्र में हमारे संबंधों को मजबूती का जरिया भी बताया. दोनों देशों के बीच संबंधों को लेकर कहा, "बीते कुछ वर्षों में व्यापार, रक्षा, समुद्री, स्वास्थ्य, सुरक्षा, खाद्य सुरक्षा, विकास साझेदारी और लोगों के बीच संबंधों जैसे सभी क्षेत्रों में हमारे संबंधों में प्रगति हुई है". पीएम मोदी ने प्रसन्नता जताते हुए कहा कि यह अत्यंत प्रसन्नता की बात है कि दोनों देश अगले पांच वर्षों के लिए एक कार्ययोजना तैयार कर रहे हैं साथ ही जुलाई 2027 तक फिलीपींस भारत का समन्वयक देश है. जहां 2026 में फिलीपींस आसियान की अध्यक्षता करेंगा.