बच्चे को परफेक्ट बनाने की जिद का करें The End! वरना तेज नहीं, मेंटली कमजोर हो जाएगा आपका लाल
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बच्चे को परफेक्ट बनाने की जिद का करें The End! वरना तेज नहीं, मेंटली कमजोर हो जाएगा आपका लाल

Parenting Tips: आजकल माता-पिता अपने बच्चे को परफेक्ट बनाने के लिए सारी हदें पार कर देते हैं. इसका नतीजा ये होता है कि बच्चा मेंटली कमजोर हो जाता है. इस खबर में हम आपको बताएंगे कि अपने बच्चे को खुश और हेल्दी रखने के लिए आपको क्या करना चाहिए. 

 

बच्चे को परफेक्ट बनाने की जिद का करें The End! वरना तेज नहीं, मेंटली कमजोर हो जाएगा आपका लाल
  1. हर माता-पिता चाहते हैं कि उनका बच्चा हर चीज में परफेक्ट हो जाए. वे पढ़ाई लिखाई में टॉप करे, हर फील्ड में अपना नाम बनाए. इसके साथ-साथ एक सफल और अच्छा इंसान भी बने. लेकिन पेरेंट्स की ये चाहत बच्चों के लिए सजा बन जाती है. अपने बच्चों को परफेक्ट बनाने के लिए पेरेंट्स बच्चे पर इतना प्रेशर डालने लगते हैं, कि बच्चे पर अच्छा नहीं बुरा असर पड़ने लगता है.
  2. अपने बच्चे को बेस्ट बनाने की जिद में कई बार पेरेंट्स अपने ही बच्चे का बचपन और मेंटल पीस छीन लेते हैं. इस खबर में हम आपको बताएंगे कि अपने बच्चे के खुशी और हेल्थ के लिए पेरेंट्स को क्या करना चाहिए. 
  3. अपने बच्चे की रफ्तार को समझें
    हर बच्चा एक दूसरे से अलग होता है. उसकी अपनी-अपनी रफ्तार होती है. इसलिए बच्चों की एक-दूसरे से तुलना करना बिल्कुल गलत है. अगर आप अपने बच्चे की तुलना किसी और बच्चे से करते हैं, तो आप जाने-अनजाने में उसका कॉन्फिडेंस खत्म कर देते हैं. हर बच्चे क अपनी रफ्तार होती है. वह अपनी रफ्तार में सीखता है, समझता है और बढ़ता है. हर बच्चा हर चीज में परफेक्ट नहीं हो सकता है. कोई पढ़ाई में परफेक्ट होता है, तो कोई खेल में, तो कोई पेंटिंग में. ऐसे में अपने बच्चे को समझे और उसे उसके हाल में स्वीकार करें. 
  4. बच्चे पर प्रेशर ना डाले
    आजकल के समय में बच्चे बड़ों की तरह बिजी हो गए हैं. उनका पूरा दिन प्लांड रहता है. सुबह स्कूल, फिर ट्यूशन फिर म्यूजिक क्लास, स्पोर्टस क्लास और फिर होमवर्क. इन सब के बीच बच्चे का बचपन तो खो ही जाता है. हर वक्त अच्छा करने की और कुछ सीखने के चक्कर में वो मेंटली थक जाते हैं. उनका दिमाग प्रेशर में रहता है, जिसके नतीजा ये होता है कि बच्चा धीरे-धीरे एंग्जायटी, चिड़चिड़ापन और स्ट्रेस जैसी मानसिक समस्याओं का शिकार हो जाता है. 
  5. गलती करने से ना डांटें
    परफेक्ट बनाने के चक्कर में पेरेंट्स बच्चों को रोबोट बना देते हैं. बच्चे से उम्मीद करते हैं कि वह हर वक्त सही कहे, सही करे और इसमें गलतियों की कोई गुंजाइश न रहे. लेकिन उन्हें ये समझ नहीं आता कि बच्चा गलतियां करके ही सीखता है. अपने अनुभवों से ही उसे सही रास्ते की पहचान होती है. इसलिए उनकी गलतियों पर उन्हें डांटने मारने के बजाए उन्हें उनकी गलतियों से सीखने दीजिए. 
  6. Disclaimer: यहां दी गई जानकारी घरेलू नुस्खों और सामान्य जानकारियों पर आधारित है. इसे अपनाने से पहले चिकित्सीय सलाह जरूर लें. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.

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