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Independence Day: भारत आज अपना 79वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि सिर्फ भारत ही नहीं, बल्कि दुनिया के कुछ और देश भी 15 अगस्त को अपनी आजादी या राष्ट्रीय दिवस मनाते हैं? इन देशों में शामिल हैं – कांगो, दक्षिण कोरिया, उत्तर कोरिया, लिकटेंस्टीन और बहरीन. हर देश की अपनी एक अनोखी आजादी की कहानी है, जो दिलचस्प भी है और जानने लायक भी.
कौन-कौन से देश मनाते हैं 15 अगस्त को आजादी का दिन?
कांगो गणराज्य (Republic of Congo)
अफ्रीका के पश्चिमी तट पर स्थित यह देश पहले फ्रांस का उपनिवेश था. इसे 1960 में फ्रांस से आजादी मिली. इसे अक्सर उसके पड़ोसी देश डेमोक्रेटिक रिपब्लिक ऑफ कॉन्गो से भ्रमित किया जाता है, लेकिन दोनों अलग-अलग देश हैं.
दक्षिण कोरिया और उत्तर कोरिया
1945 में 15 अगस्त को जापान ने दूसरे विश्व युद्ध में आत्मसमर्पण किया, जिसके बाद कोरियाई प्रायद्वीप को जापानी शासन से मुक्ति मिली. हालांकि बाद में यह क्षेत्र दो देशों में बंट गया. दक्षिण कोरिया- यहां इस दिन को 'ग्वांगबोकजोल' कहते हैं, जिसका मतलब है 'रोशनी की वापसी का दिन'. उत्तर कोरिया- इसे अब डेमोक्रेटिक पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ कोरिया के नाम से जाना जाता है. दोनों ही देशों में यह दिन ऐतिहासिक माना जाता है.
लिकटेंस्टीन (Liechtenstein)
यूरोप का यह छोटा सा लेकिन अमीर देश कभी किसी का गुलाम नहीं रहा. हालांकि 15 अगस्त को यहां नेशनल डे के रूप में मनाया जाता है. यह परंपरा 1940 से शुरू हुई थी. इस दिन राजधानी वाडुज में मेले, आतिशबाजी और जुलूस आयोजित होते हैं.
बहरीन (Bahrain)
15 अगस्त 1971 को बहरीन ने यूनाइटेड नेशंस के जरिए ब्रिटिश और ईरानी प्रभाव से खुद को आजाद घोषित किया. हालांकि यहां का नेशनल डे 16 दिसंबर को मनाया जाता है, जब देश के पहले शासक एमिर ने सत्ता संभाली थी.
क्या सभी देश 15 अगस्त को ही राष्ट्रीय पर्व मानते हैं?
नहीं, कुछ देश जैसे बहरीन इस दिन को आजादी का दिन तो मानते हैं लेकिन उनका राष्ट्रीय पर्व किसी और दिन मनाया जाता है. वहीं लिकटेंस्टीन ने कभी स्वतंत्रता प्राप्त नहीं की, लेकिन उन्होंने 15 अगस्त को राष्ट्रीय उत्सव के तौर पर अपनाया.
क्या ये सभी देश ब्रिटेन या जापान के उपनिवेश थे?
ज्यादातर देशों ने ब्रिटिश, फ्रेंच या जापानी शासन से आजादी पाई. जैसे कि भारत और बहरीन ने ब्रिटेन से, कांगो ने फ्रांस से और कोरियाई देशों ने जापान से. इस तरह 15 अगस्त इन सबके लिए आजादी, पहचान और गर्व का दिन बन गया.