30 जुलाई 2024 को क्या हुआ था? इस शख्स ने खोया पूरा परिवार, लेकिन नहीं टूटा हौसला, सीना चौड़ा कर देगी नौफाल की कहानी
Advertisement
trendingNow12855607

30 जुलाई 2024 को क्या हुआ था? इस शख्स ने खोया पूरा परिवार, लेकिन नहीं टूटा हौसला, सीना चौड़ा कर देगी नौफाल की कहानी

Wayanad Landslides Victims: केरल के वायनाड में वायनाड में आए विनाशकारी भूस्खलन से प्रभावित एक शख्स ने वापस अपने जीवन की शुरुआत की है. उनने जुलाई 30 नाम से एक रेस्तरां खोला है.  

30 जुलाई 2024 को क्या हुआ था? इस शख्स ने खोया पूरा परिवार, लेकिन नहीं टूटा हौसला, सीना चौड़ा कर देगी नौफाल की कहानी

Wayanad Landslides: कहते हैं हौसले बड़े हो तो चट्टान को चीरकर भी रास्ता बनाया जा सकता है. जीवन में कई कठिनाईयां आती हैं, लेकिन उसे पार करने वाला ही एक हीरो होता है. ऐसा ही कुछ केरल के एक व्यक्ति के साथ हुआ, जिसमें आपदा में अपना परिवार खो दिया, लेकिन उनके धैर्य और दृढ़ संकल्प से आज उन्होंने वापस अपने जीवन की नई शुरुआत की है. पिछले साल 2024 में 30 जुलाई को वायनाड में आए विनाशकारी भूस्खलन ने उनके 3 बच्चों और पत्नी समेत 11 सदस्यों को खत्म कर दिया था. अब उन्होंने वापस अपनी जिंदगी बनाने का फैसला किया. 

लैंडस्लाइड में खोया परिवार 
43 साल के नौफाल ने जुलाई 30 नाम से एक रेस्तरां शुरू किया है. साथ ही उन्होंने नया घर भी खरीदा है. केरल के वायनाड जिले का मुंदक्कई गांव भूस्खलन में पूरी तरह नष्ट हो गया था. इस हादसे में 298 लोगों की जान चली गई थी और घर-इमारतें भी बह गई थी. नौफाल भी इसी गाव में रहते थे. त्रासदी वाले दिन नौफाल ओमैन में थे, जहां वह शेफ के तौर पर काम करते थे. अगल दिन जब वह वापस घर आए तो उन्होंने देखा कि वहां केवल मलबा पड़ा हुआ था. उन्हें पता चला कि इस हादसे में उनकी पत्नी-बच्चे समेत सभी 11 लोग मारे गए हैं.    

ये भी पढ़ें- Aaj Ki Taza Khabar Live: आज मनाया जाएगा 26वां कारगिल, पाकिस्तान पर भारत की जीत का प्रतीक है ये दिन

जीवन में की नई शुरुआत 
नौफाल ने कहा कि वह परिवार रे 11 में से केवल 5 लोगों की ही पहचान कर पाया. बाकी की पहचान DNA टेस्ट के जरिए हुए. उन्होंने इस दुख को भुलाते हुए अपने जीवन की नई शुरुआत करने की ठानी. उन्होंने कहा,' मैंने फैसला किया कि मुझे आगे देखना चाहिए. मुझे एहसास हुआ कि मेरा खोया जीवन, मेरा परिवार और मेरा सामान कभी वापस नहीं आएगा. एक अस्थायी इमारत में रहते हुए, मैंने इस त्रासदी और नुकसान के बारे में ज़्यादा न सोचने का फैसला किया.'  

ये भी पढ़ें- पहले मुनीर अब इशाक डर पहुंचे वॉशिंगटन, क्यों जाग रहा अमेरिका का पाकिस्तान प्रेम, आतंकवाद पर मिलाया हाथ!

खोला जुलाई 30 रेस्तरां 
केरल के एक मुस्लिम सामाजिक-धार्मिक संगठन 'केरल नदवतुल मुजाहिदीन' ने नौफाल को 7 लाख रुपये दिए. उन्होंने कहा,' मेरी पत्नी सजना का सपना था कि मैं केरल वापस आऊं और यहां एक रेस्टोरेंट खोलकर बस जाऊं.' पत्नी के सपने को आगे बढ़ाते हुए उन्होंने जुलाई 30 नाम से एक रेस्तरां और बेकरी की शुरुआत की. इसका नाम हादसे वाले दिन की याद में रखा गया था. उन्होंने यह रेस्तरां वायनाड के मेप्पाडी कस्बे में त्रासदी से प्रभावित गांवों की तरफ जाने वाली सड़क पर रखा. उन्होंने कहा,' जब मैंने रेस्टोरेंट का नाम 30 जुलाई रखा तो कई लोगों ने मेरी आलोचना की, लेकिन प्रभावित इलाकों में जाने वाले हर व्यक्ति को उस दिन, उस त्रासदी और नुकसान को याद रखना चाहिए, इससे लोग विनम्र बनेंगे और ईश्वर के करीब आएंगे.'. त्रासदी के कुछ महीनों बाद केरल मुस्लिम सांस्कृतिक केंद्र (KMC) ने वायनाड में नौफाल के लिए जमीन खरीदी और घर बनवाना शुरू किया. वहीं पिछले महीने उन्होंने सफना से शादी करके नई शुरुआत की. नौफाल ने कहा,'  बहुत से ऐसे लोग जिन्हें मैं जानता तक नहीं था, उन्होंने मेरी जिंदगी को फिर से पटरी पर लाने में मेरी मदद की है. मैंने उनमें से अधिकतर लोगों को कभी नहीं देखा. ऐसा सिर्फ केरल में ही होता है. अब लोग कहते हैं कि मेरा जीवन, जिस तरह से मैंने उन दर्दनाक दिनों को पीछे छोड़ दिया है, उन लोगों के लिए एक सबक है जिन्होंने उस त्रासदी में अपना सब कुछ खो दिया.'  

Breaking News in Hindi और Latest News in Hindi सबसे पहले मिलेगी आपको सिर्फ Zee News Hindi पर. Hindi News और India News in Hindi के लिए जुड़े रहें हमारे साथ.

TAGS

Trending news

;